Jharjhara Mandir Murmura - झरझरा मंदिर मुरमुरा
छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर से महज 70 किलोमीटर की दूरी पर प्रकृति की गोद में एकदम मनोहारी छटा बिखेरती झरझरा माता मंदिर एक पर्यटन स्थल है. जहां पहुचने के लिए रायपुर से पहले तो प्रसिद्ध तीर्थस्थल राजिम पहुचना होंगा. रायपुर से राजिम की दूरी 50 किलोमीटर है. राजिम पहुचने और भगवान राजीवलोचन और कुलेश्वर महादेव मंदिर के दर्शन करने के उपरान्त गरियाबंद रोड में सीधे 20 किलोमीटर आगे जाने पर पांडुका गाँव है. पांडुका के चरोधाम चौक से जतमई देवी मंदिर और घटारानी पर्यटन स्थल जाने का मार्ग है. रास्ता एकदम क्लियर है चौड़ा सड़क है. आराम से जाया जा सकता है.
पांडुका गाँव से 4 किलोमीटर आगे जाने पर गाडाघाट गाँव है जहा सरगी नदी पर छोटा पुलिया है जिसे पार कर सीधे सांकरा गाँव पहुचेंगे. सांकरा से सीधे चले जाने से जतमई पहुच जाएंगे इसलिए सांकरा गाँव से बाएँ मुडें और 3 किलोमीटर का सफ़र तय कर मुरमुरा गाँव पहुचेंगे. मुरमुरा गाँव के ही पहाड़ी पर माता झरझरा देवी का प्रसिद्ध पर्यटन स्थल और टूरिस्ट स्पॉट है. मंदिर के नीचे पहाड़ी जरुर है लेकिन उपर पहुचने पर बड़ा समतल मैदान और घना जंगल है. यहाँ आने वाले पर्यटक इस मैदानी जगह पर कही पर भी पिकनिक मनाने और प्रकृति की अनुपम छटा का नजारा लेने स्वतंत्र है. कोई रोक टोक यहाँ नहीं है.
मंदिर प्रांगण में चौबीसों घंटे पुजारियों का डेरा रहता है. जंगली जानवर और किसी भी प्रकार के असमाजिक तत्वों का यहाँ कोई खतरा नहीं है. बहुत ही सुरक्षित जगह है. कभी ऐसी कोई कारण हो तो पुजारियों और गाँव वालो का सहयोग हमेशा उपलब्ध रहता है.
माता झरझरा मंदिर से महज 12 किलोमीटर की दूरी पर माता जतमई देवी का मंदिर व्र सुन्दर झरना और दूसरी दिशा में 7 किलोमीटर की दूरी पर घटारानी का झरना व् पर्यटन स्थल है. वैसे बरसात के दिनों में झरझरा मंदिर के पास से भी एक झरना बहता है. जिसमे पर्यटक नहाने और मौज मस्ती के लिए उपयोग करते है.
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